सैनिक प्रदेश होने के बावजूद दुर्व्यवहार

 जब भी भारत माता पर कोई दुश्मनों का खतरा आता है तब देश का हर चौथा शहीद मरुप्रदेश का होता है। देश के सर्वाधिक बहादुर नोजवान देने में हम नम्बर एक है जबकि हमारे फौजियों व उनके परिवारों,बच्चों के साथ भी न्याय नही हुआ। चितोरगढ़ जिले से नाममात्र के शहीद भी नही है वहां पुराने काल से सैनिक स्कूल है जबकि मरुक्षेत्र के झुंझुनू में लंबे आंदोलन के बाद स्कूल मिली है जो अभी भी निर्माणाधीन है। सैनिकों के लिए ना बड़े अस्पताल,ना जिला हेडक्वार्टरो पर बड़ी कैंटीन मिली। सैनिकों के परिवारों व बच्चों के लिए सैनिक स्कूलों,कॉलेजों, डिफेन्स एकेडमीयां बननी जरूरत है।

छोटा प्रदेश - खुशहाल प्रदेश, बने अपना मरूप्रदेश